Published - 15 May 2020 by Tractor Junction
इस बार मानसून सामान्य तिथि से 6 दिन पूर्व ही आ जाएगा। आमतौर पर मानसून 20-22 मई के आसपास अंडमान-निकोबार द्वीप समूह पहुंचता है लेकिन इस बार 16 मई के आसपास इसके पहुंचने की संभावना जताई जा रही है।
मौसम विभाग के अनुसार चक्रवात बनने की दिशा में पहले कदम के तहत निम्न दबाव वाला क्षेत्र दक्षिणपूर्वी बंगाल की खाड़ी और निकटवर्ती दक्षिण अंडमान सागर में बुधवार की सुबह बन गया। दक्षिणी बंगाल की खाड़ी के मध्य हिस्सों में 15 मई को दबाव के और गहरा होने की संभावना है और यह बाद में 16 मई को बंगाल की खाड़ी में चक्रवाती तूफान बनकर आएगा।
भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) के अनुसार मानसून के, बंगाल की खाड़ी में चक्रवाती परिसंचरण के कारण सामान्य तिथि से करीब छह दिन पहले 16 मई के आस-पास अंडमान-निकोबार द्वीप समूह पहुंचने की संभावना है। पिछले महीने इसके वहां पहुंचने की संभावना संबंधी तिथि संशोधित करके 22 मई बताई गई थी। इसके बाद मानसून को केरल पहुंचने में 10 से 11 दिन लगते हैं और फिर भारत में बारिश की शुरुआत होती है। आईएमडी केरल में मानसून के पहुंचने की संभावित तिथि की जानकारी इस सप्ताह के आखिर में जारी कर सकता है।
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आईएमडी के महानिदेशक मृत्युंजय महापात्र ने बताया कि मानसून के इस साल सामान्य रहने की संभावना है जो कि खेती किसानी के लिए अच्छा है। केरल में एक जून को मानसून के पहुंचने की संभावना है, जिसके बाद देश में चार महीने चलने वाले बारिश के मौसम की शुरुआत होगी। आईएमडी के 1960 से 2019 के आंकड़ों के आधार पर देश के कई हिस्सों में मानसून आने और वहां से इसके जाने की तारीखों में संशोधन किया गया है। पहले की तारीखें 1901 से 1940 के आंकड़ों पर आधारित थीं।
दिल्ली में मॉनसून 23 जून के बजाए 27 जून और मुंबई एवं कोलकाता में 10 जून के बजाय 11 जून तक दस्तक देगा। चेन्नई में यह एक जून के बजाए चार जून को पहुंचेगा। हालांकि पश्चिमोत्तर भारत में मानसून 15 जुलाई के बजाए आठ जुलाई को पहुंचेगा। दक्षिण भारत से मानसून की वापसी की नई तारीख 15 अक्टूबर है।
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