Posted On - 03 Jun 2020
किसान भाइयों का ट्रैक्टर जंक्शन में स्वागत है। आज हम लाए है आपके लिए एक खास खबर जो आपके बेहद काम की होने के साथ ही राहत पहुंचाने वाली है। जी हां, केंद्र सरकार ने किसानों के हित में निर्णय लेते हुए एक बार फिर उन्हें किसान क्रेडिट कार्ड (KCC-Kisan Credit Card) पर लिए गए सरकारी ऋण की अदायगी की अंतिम तिथि को आगे बढ़ा दिया है। अब किसान अपने ऋण की अदायगी 31 अगस्त तक कर सकेंगे। पहले यह तिथि 31 मई तक बढ़ाई गई थी।
कोरोना संक्रमण के चलते जारी लॉकडाउन के कारण किसानों को आने-जाने में काफी परेशानी हो रही थी, वहीं फसल बेचान, कृषि कार्यों लगे होने के कारण उनके सामने ऋण चुकाने को लेकर परेशानी थी। वे बैंक तक नहीं पहुंच पा रहे थे। इसके अलावा किसानों के सामने आर्थिक संकट भी बना हुआ था। इसे ध्यान में रखते हुए मोदी सरकार ने किसानों को राहत पहुंचाते हुए ऋण अदायगी की तिथि को एक बार फिर आगे बढ़ाने का फैसला लिया। इससे किसानों को ऋण अदायगी करने में आसानी होगी। वहीं जो किसान समय पर ऋण अदायगी करेंगे उन्हें ब्याज दर में अतिरिक्त छूट भी दिए जाने का निर्णय भी लिया गया है। इससे देश के करीब 7 करोड़ किसानों को फायदा होगा। आइए जानते है किस तरह किसान समय पर अपने ऋण अदायगी करने के साथ इस छूट का लाभ उठा सकते हैं।
मीडिया व समाचार पत्रों में प्रकाशित खबरों अनुसार किसान क्रेडिट कार्ड (KCC-Kisan Credit Card) पर लिए गए खेती-किसानी के लोन पर अब 31 अगस्त तक सिर्फ 4 फीसदी ही ब्याज लगेगा। इस बात की जानकारी केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने दी है। तोमर ने कहा कि कई जगहों पर खरीद अभी चल रही है। लॉकडाउन को देखते हुए भी ऋण अदायगी की तारीख को बढ़ाया गया है।
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केंद्रीय मंत्रिमंडल ने कृषि और उससे संबंधित गतिविधियों के लिए बैंक से तीन लाख रुपए तक की अल्पकालिक ऋणों को चुकाए जाने की समय सीमा बढ़ाते हुए यह रियायत 1 मार्च 2020 से 31 अगस्त 2020 के बीच चुकाए जाने वाले ऋणों के लिए दी गई है। ये ऋण अब 31 अगस्त 2020 तक चुकाए जा सकते हैं। कर्ज चुकाने की समय अवधि बढ़ाए जाने के बावजूद इन ऋणों पर बैंकों को मिलने वाली 2 प्रतिशत की ब्याज छूट तथा किसानों को समय रहते ऋण चुकाने पर मिलने वाली 3 प्रतिशत की छूट सुविधा यथावत जारी रहेगी।
बैंकों द्वारा कृषि और संबंद्ध गतिविधियों के लिए दिए गए 3 लाख रुपए तक के मानक अल्पकालिक ऋणों, जो 1 मार्च 2020 और 31 अगस्त 2020 के बीच देय हैं, के पुनर्भगतान की तारीख 31 अगस्त 2020 तक बढ़ा देने से किसानों को 4 प्रतिशत की सालाना ब्याज दर से बिना किसी जुर्माने के इस तरह के कर्ज को 31 अगस्त 2020 तक की बढ़ी हुई अवधि तक चुकाने या नवीनीकरण कराने में मदद मिलेगी। इसके तहत बैंकों के लिए 2 प्रतिशत ब्याज सब्सिडी (आईएस) और किसानों के लिए 3 प्रतिशत पीआरआई का निरंतर लाभ मिलता रहेगा। इससे किसानों को बार-बार बैंक जाने की जरूरत नहीं पड़ेगी।
केंद्र सरकार द्वारा ऋण अदायगी की तिथि आगे बढऩे से किसानों को बहुत बड़ी राहत मिली है। इससे किसानों को ऋण चुकाने के लिए पर्याप्त समय मिल जाएगा। वहीं ऋण का भुगतान पुरानी ब्याज दर मात्र 4 प्रतिशत की दर से ही चुकाना पड़ेगा। यदि 31 मार्च के बाद जो लोग किसान क्रडिट कार्ड पर लिया गया लोन वापस करते उन्हें कम से कम 7 फीसदी का ब्याज देना पड़ता। लॉकडाउन को देखते हुए इसे 31 मार्च से बढ़ाकर पहले 31 मई किया गया था। सोमवार को इसे बढ़ाकर पूरे अगस्त तक की मोहलत दे दी गई। इससे देश के करीब 7 करोड़ किसानों को फायदा होगा।
खेती-किसानी के लिए केसीसी पर लिए गए तीन लाख रुपए तक के लोन की ब्याज दर वैसे तो 9 फीसदी है। लेकिन सरकार इसमें 2 परसेंट की सब्सिडी (छूट) देती है। इस तरह यह 7 फीसदी पड़ता है, लेकिन समय पर लौटा देने पर 3 फीसदी और छूट मिल जाती है। इस तरह इसकी दर ईमानदार किसानों के लिए मात्र 4 फीसदी रह जाती है। अधिकतर बैंक किसानों को सूचित कर 31 मार्च तक कर्ज चुकाने के लिए कहते हैं। अगर किसान उस समय तक कर्ज का बैंक को भुगतान नहीं करते हैं तो उन्हें 7 फीसदी ब्याज देना होता है।
किसान KCC किसी भी को-ऑपरेटिव बैंक, क्षेत्रीय ग्रामीण बैंक (RRB) से प्राप्त कर सकता है। नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया (NPCI) रुपे KCC जारी करता है। इसके अलावा SBI, BOI और IDBI बैंक से भी यह कार्ड लिया जा सकता है।
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