प्रकाशित - 12 May 2025
ट्रैक्टर जंक्शन द्वारा
केंद्र सरकार की ओर से किसानों को सिंचाई के लिए सोलर पंप उपलब्ध कराए जा रहे हैं ताकि उन्हें 24 घंटे सिंचाई की सुविधा मिल सके और साथ ही अतिरिक्त बिजली उत्पादन से कमाई भी हो सके। इसी कड़ी में राज्य सरकार की ओर से किसानों को 32 लाख सोलर पंप देने का लक्ष्य रखा गया है जिस पर किसानों को 90% तक सब्सिडी का लाभ प्रदान किया जाएगा। यह सोलर पंप दो से पांच हार्स पावर के होंगे जिन पर अनुदान दिया जाएगा।
हाल ही में 3 मई को मध्यप्रदेश के मंदसौर जिले में राज्य स्तरीय किसान मेला सह कृषि समागम का आयोजन किया गया। मेले में सीएम डॉ. मोहन यादव सहित अन्य मंत्रियों, अधिकारियों व किसानों ने भाग लिया। मेले में मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार किसानों को बिजली में आत्मनिर्भर बनाने जा रही है। अब किसान सौर ऊर्जा से स्वयं बिजली बनाएंगे और पंप चलाएंगे। उनके द्वारा जरूरत से अधिक बिजली पैदा करने पर राज्य सरकार किसानों से बिजली की खरीद करेगी और उसका भुगतान भी करेगी। किसानों को मात्र 10 प्रतिशत राशि पर सोलर पंप उपलब्ध कराए जाएंगे। योजना के तहत किसानों को 5, 3, 2 हार्स पॉवर तक के सौर पंप के लिए 10 प्रतिशत राशि जमा कराने पर शेष राशि राज्य सरकार की ओर से उपलब्ध कराई जाएगी। इस योजना से किसानों को बिजली के बिल से मुक्ति मिलेगी। 3 साल में 32 लाख सोलर पंप उपलब्ध कराए जाएंगे। किसान, कृषि पंप चलाने, घर में बिजली के उपयोग या अन्य प्रयोजनों के लिए अपनी बिजली स्वयं बना सकेंगे।
मेले में मुख्यमंत्री ने कहा कि हम उन्नत खेती को उद्योग का दर्जा दिलाने के उद्देश्य से काम कर रहे हैं। इसीलिए कृषि उत्पादों के उचित मूल्य का लंबे समय तक संधारण और स्थानीय स्तर पर खाद्य प्रसंस्करण की सुविधा उपलब्ध कराकर किसानों का लाभ सुनिश्चित करने के लिए प्रसार जारी हैं। उन्होंने कहा कि मध्यप्रदेश में संतरा, केला सहित कई महत्वपूर्ण उत्पाद बड़ी मात्रा में होते हैं। इनकी ब्रांडिंग भी हमारे प्रदेश के नाम पर हो, यह सुनिश्चित करना जरूरी है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने सभी किसानों को उन्नत कृषि अपनाने तथा बागवानी, फलोद्यान, प्रसंस्करण सहित कृषि से जुड़ी अन्य गतिविधियां अपनाते हुए संपन्न बनने के लिए निरंतर प्रयत्नशील रहने का संकल्प दिलाया। उन्होंने कहा कि सरकार विदेशी तकनीक से लेकर स्थानीय जुगाड़ तक को प्रोत्साहित करते हुए खेती को फायदेमंद बनाने के लिए प्रतिबद्ध है।
सीएम मोहन यादव ने कहा कि प्रदेश में गोपालन को प्रोत्साहित किया जा रहा है ताकि दूध का उत्पादन बढ़ाया जा सके। उन्होंने कहा कि गाय–भैंस पालन को प्रोत्साहित करने के लिए 25 गाय–भैंस (1 यूनिट) पर 25 प्रतिशत की सब्सिडी दी जाएगी। देश के कुल दुग्ध उत्पादन में मध्यप्रदेश का उत्पादन वर्तमान में 9 प्रतिशत है, इसे हमें 20 प्रतिशत तक लेकर जाना है। किसानों को 200 गाय–भैंस पालन यानी 8 यूनिट तक सब्सिडी दी जाएगी। अच्छी खेती के साथ दूध उत्पादन, बागवानी, फलोद्यान जैसी गतिविधियां बढ़ाने के लिए भी राज्य सरकार सब्सिडी उपलब्ध करा रही है।
उन्होंने कहा कि प्रदेश के हर जनपद में एक–एक वृंदावन गांव विकसित किया जाएगा। यहां पर उन्नत कृषि के लिए विशेष प्रोत्साहन के साथ ही स्कूल–कॉलेज सहित सभी अन्य आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध होंगी। बेसहारा, लावारिश, अपाहिज गौमाता की देखरेख के लिए 20 रुपए की जगह 40 रुपए प्रति गाय की दर से अनुदान उपलब्ध कराया जा रहा है। राज्य सरकार ने आपदा में तत्काल सहायता करने के उद्देश्य से एयर एम्बुलेंस सेवा का संचालन शुरू किया है। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कार्यक्रम स्थल पर कृषि एवं उद्यानिकी विभाग की ओर से लगाई गई प्रदर्शनी का अवलोकन किया। प्रदर्शनी में विभिन्न कृषि उत्पादों के साथ ही आधुनिक तकनीकों के कृषि यंत्रों की प्रदर्शनी लगाई गई थी।
प्रदेश के किसान पीएम कुसुम योजना सी (PM Kusum Yojana–C) के तहत सोलर पंप के लिए आवेदन कर सकते हैं। इसके लिए उन्हें ऑनलाइन आवेदन करना होता है। किसान इस योजना की आधिकारिक वेबसाइट लिंक https://cmsolarpump.mp.gov.in/kusum_s पर जाकर सोलर पंप सब्सिडी के लिए आवेदन कर सकते हैं। आवेदन करते समय आपको निर्धारित पंजीयन राशि ऑनलाइन जमा करनी होगी। बताया रहा हैं कि राज्य सरकार की ओर से पीएम कुसुम योजना सी (PM Kusum Yojana–C) के लिए आवेदन की प्रक्रिया जल्द शुरू की जाएगी। योजना से संबंधित अधिक जानकारी के लिए किसान अपने क्षेत्र के ऊर्जा विकास निगम के जिला कार्यालय में संपर्क कर सकते हैं।
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