प्रकाशित - 17 Jun 2024
ट्रैक्टर जंक्शन द्वारा
किसानों की आय बढ़ाने और खेती को लाभकारी बनाने के लिए सरकार की ओर से प्रयास किए जा रहे हैं। सरकार की ओर से कई योजनाओं के माध्यम से किसानों को लाभ पहुंचाया जा रहा है जिसमें पीएम किसान योजना, पीएम फसल बीमा योजना, पीएम मानधन योजना, पीएम आवास योजना ग्रामीण आदि शामिल है। इसके अलावा किसानों को बीज, खाद व कीटनाशक पर सब्सिडी दी जाती है। इसके अलावा और भी कई लाभ प्रदान किए जाते हैं। इसी कड़ी में राज्य सरकार की ओर से खेत को उपजाऊ बनाने की दिशा में काम किया जा रहा है। हाल ही में राज्य सरकार ने किसानों को नदी, तालाब व कुएं की गाद यानी मिट्टी फ्री में देने का फैसला किया है। इसका उपयोग वे खेत को उपजाऊ बनाने में कर सकेंगे।
बता दें कि पहले राज्य के किसानों को नदी, तालाब की गाद लेने के लिए रॉयल्टी देनी होती थी, उसके बाद ही किसान मिट्टी का परिवहन कर सकते थे। लेकिन अब प्रदेश सरकार ने उन्हें फ्री मिट़्टी देने का फैसला किया है। इससे किसानों को लाभ होगा और उनकी फसलों की पैदावार भी बढ़ेगी और खेत भी उपजाऊ बने रहेंगे।
मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव ने जल गंगा संवर्धन अभियान की समीक्षा बैठक के दौरान कहा कि खेतों को उपजाऊ बनाने पर जोर दिया जाएगा ताकि फसलों का उत्पादन बढ़ाया जा सके। इसके लिए किसानों को नदी, तालाब एवं कुएं की गाद एवं मिट्टी बिना रॉयल्टी के नि:शुल्क दी जाएगी। पूरे प्रदेश में नदी, तालाब एवं कुएं से निकलने वाली गाद व मिट्टी को किसान अपने खेतों को उपजाऊ बनाने तथा समतल करने के लिए इसका परिवहन बिना रॉयल्टी के नि:शुल्क कर सकेंगे। वहीं नदी, तालाब व कुएं से निकाली गई गाद एवं मिट्टी का उपयोग व्यावसायिक प्रयोजन के लिए नहीं किया जा सकेगा। इसका उपयोग सिर्फ किसान अपने खेत की भूमि को उपजाऊ बनाने के लिए कर सकते हैं।
मध्यप्रदेश गौण खनिज नियम 1996 के अनुसार यदि किसान को नदी, तालाब व कुएं से निकाली गई गाद या मिट्टी की जरूरत है तो उसके आवेदन पर संबंधित शासकीय विभाग द्वारा गाद या मिट्टी के परिवहन करने की अनुमति दी जाएगी। इसके परिवहन के लिए किसान को न तो कोई रॉयल्टी देनी होगी और न ही परिवहन अनुज्ञा पत्र की आवश्यकता होगी। किसान जल गंगा संवर्धन अभियान के तहत नदी, तालाब और कुएं की सफाई के दौरान निकलने वाली गाद या मिट्टी का उपयोग खेतों को उपजाऊ बनाने के लिए परिवहन कर सकते हैं। इसका उन्हें कोई शुल्क नहीं देना होगा। यह बिलकुल नि:शुल्क होगा।
कृषि वैज्ञानिक के अनुसार यदि किसान तालाब की मिट्टी निकालकर अपने खेत में डालते हैं, तो खेत की मिट्टी उपजाऊ होगी और इससे फसल की पैदावार भी बढ़ेगी। इतना ही नहीं नर्सरी लगाने वाले किसान भी उसी मिट्टी में नर्सरी लगा सकते हैं। इससे तालाब में से मिट्टी निकालने से तालाब गहरे होंगे जिससे वर्षा जल का संचय अधिक हो सकेगा। वहीं दूसरी ओर इस मिट्टी से खेत उपजाऊ बने रहेंगे। बता दें कि पुराने तालाब की मिट्टी में 8 प्रतिशत नाइट्रोजन और 3 प्रतिशत सुपर फास्फेट पाया जाता है। इसमें पोटेशियम, मैग्नीशियम और कैल्शियम भी पाया जाता है। इस मिट्टी का खेत में 25 से 30 टन प्रति हैक्टेयर की दर से उपयोग किया जाता है।
यदि किसान खेत में तालाब का निर्माण कराते हैं तो उनको इसका दो तरह से फायदा मिलता है। एक तो बारिश के दिनों में तालाब में वर्षा जल का संचय किया जा सकता है ताकि साल भर उस पानी को खेत की सिंचाई के लिए काम में लिया जा सके। दूसरा तालाब की मिट्टी को खेत के काम में लिया जा सकेगा जिससे खेत उपजाऊ बना रहेगा। तालाब की मिट्टी में पोषक तत्व व इको फ्रेंडली जीवाणु व बैक्टरिया होते है जिससे इसकी मिट्टी खेत के लिए लाभकारी होती है।
नदी, तालाब व कुएं से निकली गाद या मिट्टी का उपयोग कर खेत को उपजाऊ बनाया जा सकता है। इसके लिए इस मिट्टी को खेत में इस तरह से बिखेरा जाता है जिस तरह से खेत में गोबर की खाद को बिखेरा जाता है। मिट्टी को बिखेर देने के बाद खेत की जुताई की जाती है जिससे नदी, तालाब या कुएं से निकाली गई गाद या मिट्टी पूरी तरह से खेत में मिल जाए। इस तरह इस मिट्टी का उपयोग खेत को उपजाऊ बनाने में किया जा सकता है।
ट्रैक्टर जंक्शन हमेशा आपको अपडेट रखता है। इसके लिए ट्रैक्टरों के नये मॉडलों और उनके कृषि उपयोग के बारे में एग्रीकल्चर खबरें प्रकाशित की जाती हैं। प्रमुख ट्रैक्टर कंपनियों स्टैंडर्ड ट्रैक्टर, सेलस्टियल ट्रैक्टर आदि की मासिक सेल्स रिपोर्ट भी हम प्रकाशित करते हैं जिसमें ट्रैक्टरों की थोक व खुदरा बिक्री की विस्तृत जानकारी दी जाती है। अगर आप मासिक सदस्यता प्राप्त करना चाहते हैं तो हमसे संपर्क करें।
अगर आप नए ट्रैक्टर, पुराने ट्रैक्टर, कृषि उपकरण बेचने या खरीदने के इच्छुक हैं और चाहते हैं कि ज्यादा से ज्यादा खरीददार और विक्रेता आपसे संपर्क करें और आपको अपनी वस्तु का अधिकतम मूल्य मिले तो अपनी बिकाऊ वस्तु को ट्रैक्टर जंक्शन के साथ शेयर करें।