किसानों को मिलेगा रियायती दर पर ऋण, चुकाना भी होगा आसान

Share Product Published - 15 Sep 2020 by Tractor Junction

किसानों को मिलेगा रियायती दर पर ऋण, चुकाना भी होगा आसान

कोविड-19 के दौर में किसानों की सहायता करेगा नाबार्ड

कोविड-19 बीमारी ने पूरी दुनिया को बदल दिया है। आज सभी क्षेत्रों में इसका असर देखा जा रहा है। चाहे वो छोटे उद्योग धंधे हो या फिर बड़ी-बड़ी कंपनियां या फिर खेती-किसान का क्षेत्र। इस बीमारी के प्रभाव से कोई भी अछूता नहीं रहा। ऐसे संकट के दौर में केंद्र सरकारें हो या राज्य सभी अपने-अपने स्तर पर किसान, व्यापारियों सहित उद्योगपतियों को सहारा देने में लगी हुई है। इसके लिए उन्होंने बैंकों को माध्यम बनाकर खड़ा कर दिया है। जैसी जरूरत हो उसके हिसाब से बैंक आपको लोन मुहैया कराएँगे।

 

सबसे पहले सरकार की सभी योजनाओ की जानकारी के लिए डाउनलोड करे, ट्रेक्टर जंक्शन मोबाइल ऍप - http://bit.ly/TJN50K1

 

अब तो बैंकों ने भी अपनी ब्याज दरें काफी घटा दी है ताकि लोग अपनी जरूरतों को पूरा करने के लिए लोन ले सके। इसी कड़ी में कृषि क्षेत्र में किसानों की मदद के लिए नाबार्ड आगे आया है। जानकारी के अनुसार राष्ट्रीय कृषि एवं ग्रामीण विकास बैंक जिसे नाबार्ड कहा जाता है, ने चालू वित्त वर्ष में 1.20 लाख करोड़ रुपए का फसल ऋण वितरित करेगा। बैक ने कहा कि इससे किसानों को अपने कृषि उत्पादन से जुड़े व्यय पूरा करने में मदद मिलेगी। देश का शीर्ष कृषि वित्त पोषण संस्थान रियायती ब्याज दर पर हर साल 90,000 करोड़ रुपए का फसल ऋण वितरित करता है। नाबार्ड के चेयरमैन जी आर चिंताला ने मीडिया को बताया कि बैंक चालू वित्त वर्ष में 1.20 लाख करोड़ रुपए का फसल ऋण वितरण करेगा। इसमें से 40,000 करोड़ रुपए ऋण बैंक पहले ही बांट चुका है। 

 


 

एक लाख करोड़ रुपए के कृषि अवसंरचना कोष से मिलेगी मदद

भारतीय उद्योग परिसंघ ( सीआईआई ) के एक कार्यक्रम में चिंताला ने कहा कि महामारी के चलते कृषि क्षेत्र के तौर-तरीकों में व्यापक परिवर्तन आया है। ऐसे में आत्मनिर्भर भारत पैकेज के तहत एक लाख करोड़ रुपए के कृषि अवसंरचना कोष की मदद से वह क्षेत्र में बुनियादी ढांचे को मजबूत करेगी। नाबार्ड ने एक बयान में कहा योजना के तहत 10,000 करोड़ रुपए चालू वित्त वर्ष और बाकी अगले तीन साल तक के लिए हर साल 30,000 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है।


इधर छोटे उद्योगों को बचाने के लॉन्च की कैश एडवांस स्कीम

कोविड-19 ने कृषि के साथ ही छोटे उद्योगों को प्रभावित किया है। इसके कारण छोटे उद्योग जमीन पर आ गए हैं। उनके सामने कैश फ्लो की समस्या आ रही है। इसे दूर करने के लिए हाल ही में फिनटेक कंपनी रेजरपे ने एक कैश एडवांस नामक स्कीम लांन्च की है जो इन छोटे उद्योगों की कैश फ्लो संबंधी समस्या को हल करने में सहायता प्रदान करेगी। इस स्कीम के तहत कोलेट्रल फ्री लोन दिया जाएगा यानि  लोन के लिए किसी गारंटी की जरूरत नहीं है। 


स्कीम के तहत कितना मिलेगा लोन

इस स्कीम के तहत एमएसएई अपनी कार्यशील पूँजी की जरूरतों के लिए 50 हजार रुपए लेकर 10 लाख रुपए तक का लोन ले सकते हैं। इसे रेजरपे के डैशबोर्ड से 10 सेकेंड में लिया जा सकता है। लोन की रकम कारोबार की क्रेडिट हिस्ट्री के आधार पर मंजूर की जाएगी।

 


किस आधार पर मिलेगा लोन

बैंक से लोन के लिए सरकार ने एमएसएमई की परिभाषा तय की हुई है। छोटे मैन्यूफैक्चरर्स, ई-कॉमर्स विक्रेताओं और सेवा प्रदाताओं को रोजमर्रा के खर्चों के लिए कैश की जरूरत होती है। ग्राहक के पेमेंट से पहले उन्हें इस पैसे की आवश्यकता होती है। रेजरपे की कैश एडवांस सर्विस कर्ज देने के लिए व्यापारियों की पेमेंट हिस्ट्री देखती है। एक बार मंजूर होने पर कारोबार कभी भी अतिरिक्त पैसा निकाल सकते हैं और अपनी इच्छा से जब चाहे इसे वापस कर सकते हैं। कारोबारों को कैश एडवांस फीचर्स पर इनेबल किया जाएगा। इसमें ऑटो रिपेमेंट ऑप्शन के साथ हर छह महीने या 12 महीने में रिन्यूअल की सुविधा होगी।
 

अगर आप अपनी कृषि भूमि, अन्य संपत्ति, पुराने ट्रैक्टर, कृषि उपकरण, दुधारू मवेशी व पशुधन बेचने के इच्छुक हैं और चाहते हैं कि ज्यादा से ज्यादा खरीददार आपसे संपर्क करें और आपको अपनी वस्तु का अधिकतम मूल्य मिले तो अपनी बिकाऊ वस्तु की पोस्ट ट्रैक्टर जंक्शन पर नि:शुल्क करें और ट्रैक्टर जंक्शन के खास ऑफर का जमकर फायदा उठाएं।

Quick Links

Call Back Button
scroll to top
Close
Call Now Request Call Back