Posted On - 18 Aug 2020
सरकार की ओर से किसानों के लिए बहुत सी योजनाएं चलाई जा रही हैं और इन पर सरकार की ओर से किसानों को अनुदान भी दिया जाता है। इन्हीं योजनाओं एक योजना राष्ट्रीय बागवानी मिशन / मुख्यमंत्री बागवानी मिशन योजना है। इसके तहत किसानों को बागवानी व फलदार पौधों की खेती के लिए अनुदान दिया जाता है। इसी कड़ी में बिहार सरकार ने एक नई योजना की शुरुआत की है। इस योजना में बिहार सरकार ने राज्य स्कीम मद से उद्यान विकास हेतु वैसे घटक, जो राष्ट्रीय बागवानी मिशन / मुख्यमंत्री बागवानी मिशन में समाहित नहीं है, उन सभी घटकों को एक साथ समेकित कर एक नई योजना का स्वरूप वित्तीय वर्ष 2020-21 में तैयार किया है। एकीकृत उद्यान विकास योजना तहत अंतरवर्ती फसल कार्यक्रम फलदार पौधों के बगीचों में हल्दी, अदरक, ओल लगाकर किसान अपनी आमदनी बढ़ा सकते हैं इसके लिए सरकार किसानों को प्रोत्साहन के लिए अनुदान भी दिया जाएगा।
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अंतरवर्तीय फसल पद्धति में मुख्य एवं अन्तरवर्तीय फसल का बीज कतारों में अलग - अलग बोया जाता है। इस पद्धति को अपनाने से डेढ़ गुना उत्पादन के साथ साथ अधिक आर्थिक लाभ प्राप्त करना संभव हो जाता है। यह पद्धति उत्पादन बढ़ाने में बहुत ही सहायक सिद्ध हुई। अंतरवर्तीय पद्धति अपनाकर किसान अपनी आय बढ़ा सकता है। बिहार सरकार अंतरवर्तीय फसलों पर जोर दे रही है ताकि किसान की आमदनी बढ़ाने में मदद मिल सके। इसके लिए शुरू की गई अंतरवर्ती फसल कार्यक्रम के तहत अदरक, हल्दी एवं ओला की खेती पर सरकार द्वारा अनुदान दिया जा रहा है।
एकीकृत उद्यान विकास योजना के तहत अंतरवर्ती फसल कार्यक्रम फलदार पौधों के बगीचों में हल्दी, अदरक, ओल लगाकर किसान अपनी आमदनी बढ़ा सकते हैं। इसके लिए सरकार किसानों को प्रोत्साहन के लिए अनुदान भी देगी। इसका उद्देश्य किसानों को उद्यान के क्षेत्र में अतिरिक्त संभावना वाले घटकों के लिए सहायता प्रदान कर उनकी आय के सृजन तथा आमदनी स्रोत को बढ़वा देना है। इस योजनान्तर्गत शुष्क क्षेत्रों में फलों का प्रत्यक्षण अंतरवर्ती फसल को बढ़ावा देना, लत्तिदार सब्जियों हेतु अलान का अस्थायी निर्माण एवं गुणवता पूर्ण सब्जियों के पौध वितरण का कार्य भी शामिल है।
बिहार एकीकृत उधान विकास योजना शत-प्रतिशत राज्य योजना से वित्त पोषित है। वर्तमान वित्तीय वर्ष 2020-21 में राज्य स्कीम मद से शत-प्रतिशत 1459.3612 लाख रुपए मात्र की योजना का कार्यन्वयन कराया जाएगा। इस हेतु कृषि विभागीय उदव्यय के अधीन शत - प्रतिशत राज्य स्कीम मद से सहायतानुसार दिया जाएगा। यह योजना राज्य एक 12 जिलों में लागू किया गया है। बिहार राज्य पोषित एकीकृत उधान विकास योजना राज्य के 12 जिलों में लागू किया गया है। इनमें भागलपुर, सहरसा, सीतामढ़ी, शिवहर, मुज्जफरपुर, वैशाली, समस्तीपुर, पूर्वी चम्पारण, पश्चिम चम्पारण, दरभंगा, बेगुसराय, एवं खगडिय़ा को शामिल किया गया है।
बिहार राज्य के 12 जिलों में लागू एकीकृत उद्यान विकास योजना के तहत अंतरवर्ती फसल कार्यक्रम का भौतिक लक्ष्य 3999 हेक्टेयर है, जिस पर 852 लाख रुपए का अनुदान राशि का प्रावधान किया गया है। लक्ष्य के आलोक में भौतिक उपलब्धि 1715.57 हेक्टेयर है, शेष उपलब्धि प्रक्रियाधीन है। कृषकों को प्रति हेक्टेयर बगीचे में उपलब्ध खाली / प्रति भू-भाग के वास्तविक रकबा 0.36 हेक्टेयर हेतु अंतरवर्ती फसल के रूप में ओल, हल्दी एवं अदरक की खेती के लिए कृषकों को उपरोक्त फसलों के बीज एवं जैविक उत्पादन पर व्यय की कई राशि अथवा राज्य के कृषि विश्वविद्यालयों द्वारा संबंधित फसल (ओल, हल्दी एवं अदरक) के बीज हेतु निर्धारित राशि में से जो कम होता है, उक्त राशि का 50 प्रतिशत अनुदान के रूप में प्रति पूर्ति किया जाता है।
बीज का क्रय उक्त दर निर्धारण के आधार पर केंद्र / राज्य सरकार के बीज प्रतिष्ठानों से किया जा सकता है। भारत सरकार की मार्गदर्शिका एवं उद्यान की अन्य योजनाओं की भांति इस योजना में भी किसानों के लिए डी.बी.टी. इन कैश एवं डी.बी.टी. इन काईड दोनों विकल्प होते हैं। किसान अपनी इच्छानुसार किसी विकल्प का चुनाव कर सकते हैं।
बिहार के उद्यानिकी विभाग द्वारा योजना का लाभ लेने के लिए सरकार ने ऑनलाइन आवेदन की व्यवस्था की है। एकीकृत बागवानी मिशन योजना के तहत आवेदन करने के लिए किसान के पास 13 अंक का डी.बी.टी. नंबर होना चाहिए। अगर जिस किसान के पास यह नंबर नहीं है वह आधार कार्ड से पहले आवेदन कर लें। इस योजना का आवेदन ऑनलाइन है तथा किसान यहां से आवेदन कर सकते हैं। अधिक जानकारी के लिए इच्छुक किसान अपने प्रखंड स्तर पर या जिले के उद्यानिकी विभाग कार्यालय में संपर्क कर सकते हैं। आनलाइन आवेदन के लिए आप इस http://horticulture.bihar.gov.in/HORTMIS/OnlineAppIntegratedHorti.aspx पर जाकर आवेदन कर सकते हैं।
हालांकि इस योजना के संबंध में आपको पूर्ण जानकारी देने का प्रयास किया है। यदि आप इस योजना के संबंध में और जानकारी प्राप्त करना चाहते हैं तो इसकी वेबसाइट http://horticulture.bihar.gov.in/ पर जाकर जानकारी प्राप्त कर सकते हैं।
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